ऑपरेशन सिंदूर के दौरान पाकिस्तानी मिसाइलों को मार गिराने वाली भारत की आकाश वायु रक्षा प्रणाली का ब्राजील मुरीद हो गया है। उसने इस मिसाइल प्रणाली समेत कई भारतीय सैन्य साजो-सामान को हासिल करने में रुचि दिखाई है।
ब्राजील के साथ रक्षा सहयोग बढ़ाने पर होगी चर्चा
ब्राजील इस सप्ताह ब्रिक्स शिखर सम्मेलन की मेजबानी करने जा रहा है, जिसमें प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी भी शामिल होंगे। इस दौरान ब्राजील के साथ रक्षा सहयोग बढ़ाने पर चर्चा हो सकती है।
पीएम मोदी की ब्राजील यात्रा के दौरान रक्षा सहयोग बढ़ाने पर हो सकती है चर्चा
अधिकारियों ने इस बात की पुष्टि की है कि ब्राजील ने आकाश मिसाइल प्रणाली और स्कार्पीन श्रेणी की पनडुब्बियों समेत भारत निर्मित कई सैन्य उपकरणों में रुचि दिखाई है। विदेश मंत्रालय के सचिव (पूर्व) पी कुमारन ने बुधवार को प्रेस ब्रीफिंग के दौरान बताया कि पीएम मोदी की ब्राजील के नेतृत्व के साथ होने वाली चर्चा के दौरान रक्षा सहयोग एक प्रमुख एजेंडा होगा। रक्षा सहयोग, संयुक्त अनुसंधान और प्रशिक्षण पर बातचीत होगी।
उन्होंने बताया, ‘उन्होंने (ब्राजील सरकार) युद्ध के मैदान से संबंधित संचार प्रणाली, गश्ती जहाजों, स्कार्पीन श्रेणी की पनडुब्यिों के रखरखाव के लिए साझेदारी, आकाश वायु रक्षा प्रणाली और गरुड़ आर्टिलरी गन में रचि दिखाई है।’
प्रधानमंत्री मोदी इस समय पांच देशों की यात्रा पर हैं और पांच से आठ जुलाई तक ब्राजील के रियो डी जेनेरियो शहर में होने वाले ब्रिक्स शिखर सम्मेलन में भाग लेंगे।
डीआरडीओ द्वारा विकसित आकाश प्रणाली की ये है खासियत
डीआरडीओ द्वारा विकसित आकाश प्रणाली ने गत मई में ऑपरेशन सिंदूर के दौरान अपनी क्षमता साबित की थी। पाकिस्तानी ड्रोन और मिसाइलों को मार गिराया था। सतह से हवा में मार करने वाली यह मिसाइल प्रणाली 25 किलोमीटर तक लक्ष्य को भेद सकती है।
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