रायपुर 14 जुलाई।भाजपा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष एवं छत्तीसगढ़ के पूर्व मुख्यमंत्री डा.रमन सिंह ने जनसंख्या नियंत्रण के लिए कानून बनाने के विरोध के लिए कांग्रेस और अन्य विपक्षी दलों को आड़े हाथों लेते हुए कहा कि उत्तर प्रदेश समेत कई भाजपा शासित राज्यों का इस बारे में कानून बनाने का प्रयास सराहनीय है।
डा.सिंह ने आज यहां प्रेस कान्फ्रेंस में कहा कि बढ़ती हुई जनसंख्या समाज में व्याप्त असमानता समेत प्रमुख समस्याओं का मूल है।जिस तेज गति से आज संसाधनों का दोहन हो रहा है, ऐसे में हमें जनसंख्या नियंत्रण को लेकर गंभीर होना चाहिए।उन्होने कहा कि यह गंभीर समस्या हैं इसे सभी राजनीतिक दल समझते है।अगर इस पर नियंत्रण नही किया गया तो अराजकता की स्थिति निर्मित हो जायेंगी।
उन्होने आपातकाल के दौर में कांग्रेस शासनकाल में जनसंख्या नियंत्रण के प्रयासों की कड़ी निन्दा करते हुए कहा कि इस दौरान लोगो को रात में घरों से सोते हुए उठाकर नसबन्दी कर दी गई।यह भी जानने का प्रयास नही होता था कितने बच्चे हैं या फिर शादी भी हुई है ?उन्होने कहा कि भाजपा सरकारे कांग्रेस की तरह जनसंख्या नियंत्रण नहीं करेगी,बल्कि इसके लिए जनजागृति के अभियान चलाए जाएंगे, जनचेतना की जागृति के जितने प्रयास हो सकते हैं वह किये जाएंगे और फिर जनमानस के प्रयासों से ही हम जनसंख्या नियंत्रण के लिए कानून बनाएंगे।
डा.सिंह ने एक प्रश्न के उत्तर में कहा कि कांग्रेस में कोई भी स्वाभिमानी व्यक्त नही रह सकता है।उन्होने केन्द्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया एवं असम के मुख्यमंत्री हेमंत बिस्वा शर्मा का जिक्र करते हुए स्वाभिमान आहत होने के बाद वह भाजपा में आए और उन्हे यहां पूरा सम्मान मिला।उन्होने कहा कि कांग्रेस के भीतर बने जी 23 के सदस्यों ने पार्टी के भीतर हालात पर चर्चा की बात की लेकिन उनकी कोई सुनने वाला नही है।
उन्होने राज्य में खाद की किल्लत के लिए भूपेश सरकार को फिर जिम्मेदार ठहराते हुए कहा कि उसने लगभग 70 प्रतिशत खाद व्यापारियों के माध्यम से बिक्री के लिए उपलब्ध करवाया और सहकारी समितियों को महज 30 प्रतिशत खाद दी गई।इससे जमाखोरी एवं कालाबाजारी को बढ़ावा मिला जिसके चलते यह समस्या उत्पन्न हुई।उन्होने कांग्रेस के पेट्रोलियम पदार्थों की कीमतों में इजाफे के खिलाफ राज्य में आन्दोलन करने को हास्यापद करार देते हुए कहा कि अगर उनमें वास्तविक रूप से लोगो की चिन्ता है तो उन्हे वैट कर लोगो को राहत प्रदान करनी चाहिए।