रायपुर 29 दिसम्बर।छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के निर्देश पर राजस्व विभाग द्वारा पूर्व में जारी आदेशों को स्थगित करते हुए पांच डिसमिल से कम रकबे की खरीदी-बिक्री पर रोक हटा दी गई है।इससे अब पांच डिसमिल से कम रकबे की भूमि का अब नामांतरण और पंजीयन आसान होगा।
राजस्व विभाग द्वारा वाणिज्यिक-कर (पंजीयन) विभाग को पत्र लिखकर रजिस्ट्री हेतु खसरा नम्बर के नक्शा में अंकन की अनिवार्यता को स्थगित करने की सूचना दे दी है।पत्र में कहा है कि पूर्व में छोटे भू-खण्डों का पंजीयन होने और उसका नक्शे में अंकन किए बिना खसरे में भूमि-स्वामी का नाम दर्ज किया गया है। ऐसे खसरा नम्बरों का बिना विस्तृत सर्वेक्षण और गहन जांच के बिना नक्शे में अंकन संभव नहीं होने के कारण यदि कोई भूमि-स्वामी किसी खसरा नम्बर के धारित सम्पूर्ण भूमि को अंतरित करना चाहता है तो पंजीयन के लिए उस खसरा नम्बर के नक्शे में अंकन की अनिवार्यता को स्थगित की जाए।
राजस्व विभाग के इस पत्र में यह भी कहा गया है कि यदि ले-आऊट के आधार पर किसी भूमि-स्वामी द्वारा किसी भू-खण्ड का विक्रय किया जाता है तो ले-आऊट को पंजीयन का आवश्यक अंग मानते हुए बिना नक्शा बटांकन के पंजीयन की कार्रवाई की जाए। कुछ प्रकरणों में रायपुर विकास प्राधिकरण तथा छत्तीसगढ़ गृह निर्माण मंडल द्वारा अनुमोदित ले-आऊट भुंईया साफ्टवेयर में अपलोड नहीं किया गया है।ऐसे प्रकरणों में संबंधित संस्थान द्वारा जारी अनापत्ति प्रमाण के आधार पर भू-खण्डों के पंजीयन की कार्रवाई की जाएगी।