रायपुर, 28 जुलाई।नेशनल एम्प्लायर फेडरेशन की छत्तीसगढ़ इकाई के अध्यक्ष प्रदीप टण्डन ने केन्द्रीय श्रम मंत्रालय से आईआर कोड, औद्योगिक संबंध संहिता में प्रोन्नति, तबादले एवं अनुशासनिक कार्रवाई जैसे मामलों पर मजदूर संघों से चर्चा की धारा नही जोड़ने का आग्रह किया है।
श्री टण्डन ने आज यहां जारी विज्ञप्ति में आईआर कोड की प्रस्तावित नई धारा की प्रति केंद्रीय श्रम मंत्रालय द्वारा सार्वजनिक किये जाने पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा कि प्रबंधन के अपने कुछ अधिकार भी होते हैं। यदि प्रोन्नति, तबादले और अनुशासनिक कार्रवाई जैसे मामलों में समझौता वार्ता की धारा जोड़ी गई तो यह व्यवसाय प्रबंधन की बुनियादी अवधारणा पर प्रहार होगा क्योंकि यह नियोक्ताओं का मौलिक अधिकार है।
उन्होने आईआर कोड की प्रस्तावित इस नई धारा के प्रावधानों पर प्रकाश डालते हुए कहा कि इसमें कुछ और खामियां भी हैं। एक प्रमुख खामी है कि यह प्रस्तावित धारा 30 प्रतिशत सदस्यता वाले मजदूर संघों को समझौता वार्ता के लिए अधिकृत करने की बात करती है जबकि होना यह चाहिए कि वे मजदूर संघ ही अधिकृत किये जाएं जिनकी सदस्य संख्या 51 प्रतिशत से अधिक हो क्योंकि अल्पमत वाले मजदूर संघ कैसे बहुमत वालों से अपनी बात मनवा सकते हैं ? कारखाना परिसरों में मजदूर संघों को जगह उपलब्ध कराने के मामले में प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए उन्होंने कहा कि सिर्फ मान्यता प्राप्त संगठनों को यह सुविधा मिलनी चाहिए। अगर एक से अधिक मजदूर संघ हैं तो उन्हें आपस में मिलकर उस जगह का इस्तेमाल करना होगा।
CG News | Chhattisgarh News Hindi News Updates from Chattisgarh for India