चीन में कोरोना भयावह रूप ले चुका है। लगातार बढ़ रहे कोरोना मामलों के चलते चीन के अस्पताल मरीजों से अटे पड़े हैं। चीन में कोरोना की ये लहर ओमिक्रोन के BF.7 वेरिएंट से आई है। यह वेरिएंट भारत भी पहुंच चुका है। गुजरात में दो मरीजों में इस वेरिएंट की पुष्टि हुई है। लोगों को डर है आने वाले दिनों में मरीजों की संख्या में और भी इजाफा हो सकता है। अंतरराष्ट्रीय स्तर पर इस वेरिएंट के फैलने के बाद हवाई उड़ानों और विदेशों से आने वाले लोगों के जरिए इसके प्रसार की आशंका जताई जाने लगी है। इस बीच सरकार ने लोगों की चिंताओं पर अपना रुख साफ कर दिया है।
सरकार ने कहा है कि चीन से भारत के लिए या भारत से चीन के लिए कोई सीधी उड़ान नहीं है, लेकिन कई ऐसी उड़ानें हैं जो चीन के रास्ते भारत आती हैं। समाचार एजेंसी एएनआई ने सरकारी सूत्रों के हवाले से बताया है कि भारत और चीन को को जोड़ने वाली किसी कनेक्टिंग फ्लाइट को रोकने के लिए कोई आदेश फिलहाल जारी नहीं किया गया है।
इस बारे में अंतिम निर्णय स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय को लेना है। नागरिक उड्ययन मंत्रालय केवल उड़ानों के संचालन की व्यवस्था देखता है। वह इस तरह के नीतिगत फैसले नहीं कर सकता।
राजनीतिक दलों ने की थी मांग
कांग्रेस नेता और सांसद मनीष तिवारी ने चीन के साथ फ्लाइट बैन और देश में कड़े COVID प्रतिबंध लगाने की मांग की है। उन्होंने कहा है कि सरकार को इस समय कड़े COVID प्रोटोकॉल को लागू किया जाना चाहिए। चीन के अलावा संयुक्त राज्य अमेरिका, जापान और कोरिया में भी कोरोना के मामले बढ़े हैं, इसलिए भारत को हाई अलर्ट पर रहना चाहिए। आम आदमी पार्टी सांसद राघव चड्ढा ने भी COVID केस बढ़ने पर संसद में चर्चा की मांग की। उन्होंने भारत और चीन को जोड़ने वाली उड़ानों पर प्रतिबंध लगाने की मांग की।
उड़ानों पर कब लगाया गया था प्रतिबंध
आपको बता दें कि पूर्व में सरकार ने कोरोना की पहली लहर के मामले बढ़ने पर अंतरराष्ट्रीय उड़ानों पर प्रतिबंध लगा दिया था। 23 मार्च 2020 को कोरोना वायरस के प्रकोप के कारण सरकार ने अनुसूचित अंतरराष्ट्रीय उड़ानों पर प्रतिबंध लगाया गया था। इस दौरान दुनिया भर में यात्रा प्रतिबंध लगाए गए थे। उसके बाद भारत ने अपने नागरिकों को बाहर निकालने के लिए ने कई देशों के लिए विशेष वंदे भारत मिशन उड़ानें संचालित करनी शुरू कीं।
सरकार ने युद्धग्रस्त यूक्रेन में फंसे भारतीयों को निकालने के लिए ‘ऑपरेशन गंगा’ के तहत उड़ान सेवाओं की भी व्यवस्था की थी।
चीन में बेकाबू हुआ कोरोना
चीन में कोरोना के महाविस्फोट से दुनिया दहशत में है। दुनिया के देशों को 2019 में वुहान से शुरू हुए कोरोना वायरस के बाद फिर से बड़े पैमाने पर कोरोना के फैलने का डर सता रहा है। चीन में कोरोना के बढ़ते मामलों पर डब्ल्यूएचओ भी बहुत चिंतित है। कोरोना से होने वाली मौतों को देखते हुए एक बार फिर सभी देश सतर्क होने लगे हैं। कुछ वैज्ञानिकों ने चेतावनी दी है कि चीन में इस बार कोरोना के अनियंत्रित प्रसार से दुनिया एक नए संकट में घिर सकती है। इससे एक नए वेरिएंट का जन्म हो सकता है।