गर्मियों का मौमस ठंडे फूड्स के लिए जाना जाता है। इस दौरान फलों से लेकर जूस तक बस ऐसे फूड्स का सेवन करने का मन करता है, जो अंदर से तृप्त महसूस करवाएं। ऐसी ही एक चीज है, जिसकी गर्मियों में खूब डिमांड होती है और वो ‘आइसक्रीम’। लेकिन अक्सर देखने को मिलता है कि लोग आइसक्रीम और फ्रोजन डेज़र्ट के बीच कंफ्यूज रहते हैं। इतनी सारी किस्में उपलब्ध होने के कारण व्यक्ति का भ्रमित होना लाज़मी है। इस लेख में यही जानने की कोशिश करेंगे कि आइसक्रीम और फ्रोजन डेज़र्ट के बीच का अंतर कैसे पहचानें और क्या ये एक दूसरे से बेहतर हैं।
आइसक्रीम और फ्रोजन डेज़र्ट में अंतर
-आइसक्रीम और फ्रोजन डेज़र्ट के बीच का अंतर यह है कि आइसक्रीम डेयरी उत्पादों जैसे दूध या क्रीम, अंडे, चीनी, वेनिला एसेंस और अन्य स्वादों से बनाई जाती है। इस मिश्रण को आइसक्रीम का रूप देने के लिए नरम, मलाईदार होने तक मथा जाता है।
-दूसरी ओर, फ्रोजन डेज़र्ट देखने में आइसक्रीम के समान होते हैं, लेकिन इनमें वनस्पति तेल, आटा और चीनी का इस्तेमाल किया जाता है। फ्रोजन डेजर्ट्स को अक्सर ठंडा परोसा जाता है और फ्रीजर से निकालकर तुरंत खाया जाता है।
-फ्रोजन डेज़र्ट की तुलना में आइसक्रीम में फैट और कार्ब्स कम होते हैं। आइसक्रीम में प्रति 100 ग्राम में 5.6 ग्राम फैट होता है, जबकि फ्रोजन डेज़र्ट में 10.56 ग्राम फैट होते हैं।
-भारतीय खाद्य कानूनों के अनुसार, फ्रोजन डेज़र्ट को आइसक्रीम के रूप में बेचना निषेध है, फिर भी देश की कई प्रमुख “आइसक्रीम” कंपनियां इन्हें आइसक्रीम कहकर बेच रही हैं।
-आइसक्रीम और जमे फ्रोजन डेज़र्ट आश्चर्यजनक रूप से समान हैं फिर भी एक दूसरे से अलग हैं। आइसक्रीम दूध आधारित उत्पादों से बनती है, जबकि फ्रोजन डेजर्ट वनस्पति तेल से बनती है, जिसे अक्सर मक्खन का सस्ता विकल्प माना जाता है।
-जब भी आप बाजार में अपने पसंदीदा फ्लेवर के आइस्क्रीम को खरीदने जाएं, तो याद से डिब्बे के लेबल की जांच करें और पैकेज को ध्यान से पढ़ना न भूलें। इस तरह से आप आइसक्रीम और फ्रोजन डेज़र्ट को आसानी से पहचान सकेंगे।
यह ध्यान रखना महत्वपूर्ण है कि कुल्फी और फ्रोजन डेसर्ट दोनों में ही चीनी और कैलोरी उच्च मात्रा में होती है। इसलिए इसका सेवन कम मात्रा में किया जाना चाहिए। डायबिटीज, हाई ब्लड प्रेशर या मोटापे जैसी पहले से मौजूद स्वास्थ्य स्थितियों वाले लोगों को इस तरह के डेसर्ट का सेवन करने में विशेष रूप से सतर्क रहना चाहिए और इन्हें खाने से पहले डॉक्टर या डाइट प्रोफेशनल से परामर्श करना चाहिए।