केन्द्रीय गृहमंत्री अमित शाह और मुख्यमंत्री विष्णु देवसाय हेलीकॉप्टर से नवा रायपुर के महाप्रभु वल्लभाचार्य आश्रम चम्पारण पहुंचे। इस दौरान नवागांव हैलीपेड पर प्रदेश के उपमुख्यमंत्री विजय शर्मा, सांसद बृजमोहन अग्रवाल ने आत्मीय स्वागत किया। शाह ने मंदिर में महाप्रभु वल्लभाचार्य के मुख्य प्राकट्य बैठक के दर्शन किए और पूजा अर्चना की।
चम्पेश्वर महादेव की पूजा अर्चना कर देशवासियों की सुख समृद्धि की कामना की। चंपारण में महाप्रभु वल्लभाचार्य आश्रम पहुंचने पर केन्द्रीय गृहमंत्री का परम्परागत ढंग से स्वागत किया गया। इस मौके पर द्वारिकेश्वरलाल हाराज ने उन्हें महाप्रभु वल्लभाचार्य की प्रतिमा भेंट की। वल्लभाचार्य निधि ट्रस्ट की ओर से भी उनका स्वागत किया गया। हरीश बाबरिया और मोनल बाबरिया ने उन्हें श्रीनाथ जी का चित्र भेंट किया गया।
उनका स्वागत करने वालों में विधायक इंद्र कुमार साहू और रोहित साहू,महासमुंद के पूर्व सांसद चंदूलाल साहू, पूर्व विधायक संतोष उपाध्याय, नवागांव सरपंच भागवत साहू और संभाग आयुक्त महादेव कांवरे सहित अन्य जनप्रतिनिधिगण शामिल रहे। इसके बाद केन्द्रीय गृहमंत्री शाह और मुख्यमंत्री साय स्टेट हैंगर से मेफेयर लेक रिसोर्ट नवा रायपुर के लिए रवाना हुए।
महाप्रभु वल्लभाचार्य की जन्मस्थली है चंपारण
छत्तीसगढ़ में महाप्रभु वल्लभाचार्य की जन्मस्थली चंपारण में देशभर से पुष्टिमार्ग के अनुयायी जुटते हैं। बनारस-दक्षिण प्रवास के दौरान वल्लभाचार्य की माता को प्रसव पीड़ा हुई और चंपारण में चम्पेश्वर महादेव मंदिर के निकट उन्होंने बालक को जन्म दिया। वल्लभाचार्य ने पुष्टि मार्ग का प्रवर्तन किया और देशभर में कृष्ण भक्ति की अलख जगाई।
भारत में हमेशा से उत्तर से दक्षिण भारत की ओर तथा दक्षिण भारत से उत्तर की ओर तीर्थ यात्रा की परंपरा रही है और यह तीर्थ यात्रा महानदी के बहुत से तीर्थ स्थलों के निकट से गुजरती है। चंपारण की कहानी अपने आप में भारत की विशिष्ट सांस्कृतिक समृद्धि को दर्शाती है। उसके साथ ही यह महाप्रभु वल्लभाचार्य एवं भक्ति आंदोलन के आचार्यों की सुंदर परंपरा को भी दर्शाती है जिन्होंने सनातन परंपरा के मूल्यों को संजोया और कृष्ण भक्ति की अलख जगाई।
चौरासी वैष्णवों की वार्ता और वल्लभ दिग्विजय जैसे ग्रंथों में महाप्रभु के बचपन और उनकी सुंदर स्मृतियां दर्ज हैं। चंपारण, त्रिवेणी संगम राजिम के निकट है। राजिम में भगवान राजीव लोचन विराजित हैं। यह पदम क्षेत्र कहा जाता है। इस पद्म क्षेत्र के चारों ओर पंचकोसी परिक्रमा होती है। इस पंचकोसी परिक्रमा में श्रद्धालु हिस्सा लेते हुए चम्पेश्वर महादेव में जल अर्पित करते हैं।
इस मौके पर सर्व गुजराती समाज के अध्यक्ष प्रितेश गांधी पदीय, वल्लभाचार्य ट्रस्ट के अध्यक्ष चेतन अधिया, वल्लभाचार्य ट्रस्ट के सदस्य वल्लभ अधिया, गुजराती समाज के पदाधिकारी हरीश कुमार बाबरिया, पूर्व मंत्री चंद्रशेखर साहू, अपैक्स बैंक पूर्व अध्यक्ष अशोक बजाज और चंपारण के सरपंच राधिका ध्रुव सहित अनेक जनप्रतिधि और गणमान्य नागरिक उपस्थित रहे।
केंद्र की मोदी सरकार छत्तीसगढ़ को नक्सल आतंक से मुक्त कराने के लिए महत्वपूर्ण रणनीति पर काम कर ही है। इसी तारत्मय में केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह 23 अगस्त रात दस बजे के बाद छत्तीसगढ़ पहुंचे। केंद्र और राज्य की भाजपा सरकार छत्तीसगढ़ से नक्सलवाद को खत्म करने का एलान कर चुकी है। अब पार्टी अपनी रणनीति को आगे बढ़ा रही है। इस कार्य को अमलीजामा पहनाने के लिए केंद्रीय गृहमंत्री तीन दिवसीय प्रवास पर छत्तीसगढ़ पहुंचे। 24 और 25 अगस्त को कई बैठक लेने के बाद वो रविवार की शाम को वह वापस दिल्ली चले जाएंगे।
शाह ने जनवरी 2024 में अपने पिछले छत्तीसगढ़ प्रवास के दौरान राज्य पुलिस और प्रदेश में तैनात केंद्रीय अर्धसैनिक बल सहित विभिन्न विभागों की समीक्षा बैठक ली थी। उन्होंने नक्सल विरोधी अभियान को लेकर कुछ लक्ष्य निर्धारित किए थे। इसके अनुसार इस बैठक में भी इसी मुद्दे पर समीक्षा की जा सकती है।