राजधानी के सुल्तानपुरी इलाके में स्थित नेत्रहीन वाला पार्क में निगम की आड़ में एक पुराना नीम का पेड़ काट दिया गया। पेड़ काटने वाली महिला ने खुद को निगम पार्षद का निजी सहायक (पीए) बताया है। ऐसा एक मामला राष्ट्रीय हरित अधिकरण (एनजीटी) के सामने आया है।
मामले में अदालत ने वृक्ष अधिकारी या मंडल वन अधिकारी को शिकायत दर्ज करने की अनुमति के आदेश दिए। कहा कि वह मामले की विधिवत जांच करें और उचित दंडात्मक कार्रवाई करें। यह कार्य आवेदक से शिकायत प्राप्त होने की तिथि से तीन महीने की अवधि के भीतर हो।
दरअसल, अदालत को इस इस मामले से संबंधित एक याचिका मिली थी। सुल्तानपुरी निवासी राज कुमार नामक ने अपनी याचिका में आरोप लगाया है कि सुल्तानपुरी वार्ड नंबर 43 के नेत्रहीन वाला पार्क में एक पुराना नीम का पेड़ था। इसे 16 दिसंबर 2023 को बिना किसी अनुमति के अवैध रूप से काट दिया गया।
शिकायतकर्ता ने कहा कि प्रिया नाम की एक महिला कुछ लोगों के साथ आई थी, उसने अपने आप को निगम पार्षद की पीए बताकर पेड़ को उखड़वा दिया। मामले की सच्चाई जानने के लिए उसने सूचना के अधिकार (आरटीआई) के माध्यम से जानकारी मांगी तो जवाब मिला कि निगम की ओर से कोई आदेश पारित नहीं किया है।
निगम पार्षद से आया था आवेदन
एनजीटी अध्यक्ष न्यायमूर्ति प्रकाश श्रीवास्तव को व्यक्तिगत रूप से उपस्थित याचिकाकर्ता ने अपनी याचिका में आरटीआई का हवाला दिया। आवेदक ने अधिकरण को बताया कि उनकी ओर से दायर आरटीआई का उनके पास जवाब आया है। उत्तर में यह खुलासा हुआ कि पेड़ को गिराने के संबंध में कोई आदेश पारित नहीं किया गया था। लेकिन, निगम पार्षद से एक आवेदन जरूर प्राप्त हुआ था। आवेदक ने अदालत के सामने माना कि उन्होंने दिल्ली के वृक्ष अधिकारी या मंडल वन अधिकारी से ऐसी कोई मांग नहीं की।