
रायपुर, 07 अगस्त।छत्तीसगढ़ शासन के सूचना और जनसंपर्क विभाग की प्रभावशाली कार्यप्रणाली और तकनीकी नवाचारों ने महाराष्ट्र सरकार के वरिष्ठ अधिकारियों को काफी प्रभावित किया।
महाराष्ट्र शासन के जनसंपर्क एवं सूचना विभाग के एक उच्चस्तरीय अध्ययन दल ने 5 से 7 अगस्त तक तीन दिवसीय दौरे पर रायपुर का भ्रमण किया।अध्ययन दल में महाराष्ट्र शासन की उप सचिव श्रीमती समृद्धि अंगोलकर, निदेशक श्री किशोर गंगरडे सहित कुल छह वरिष्ठ अधिकारी शामिल थे। इस दौरे का उद्देश्य छत्तीसगढ़ में सूचना एवं जनसंपर्क के क्षेत्र में किए जा रहे नवाचारों और योजनाओं के प्रचार-प्रसार की प्रभावी तकनीकों का प्रत्यक्ष अवलोकन और अध्ययन करना था।
दल ने ई-न्यूज़ क्लिपिंग, ई-आरओ सिस्टम, ई-पब्लिकेशन, पत्रकार अधिमान्यता प्रणाली और पत्रकारों के कल्याण के लिए संचालित योजनाओं का गहराई से अध्ययन किया। साथ ही, उन्होंने छत्तीसगढ़ संवाद की संगठनात्मक संरचना और तकनीकी पहलुओं की जानकारी भी प्राप्त की।
इस अवसर पर अध्ययन दल ने जनसंपर्क विभाग के आयुक्त डॉ. रवि मित्तल से सौजन्य मुलाकात की। डॉ. मित्तल ने बताया कि राज्य सरकार की योजनाओं को जनता तक पारदर्शी और त्वरित रूप से पहुँचाने के लिए तकनीक और मानवीय दृष्टिकोण का संतुलन बेहद आवश्यक है। उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ का जनसंपर्क विभाग इस दिशा में निरंतर नवाचार कर रहा है, और यह प्रसन्नता की बात है कि अन्य राज्य भी इस कार्यप्रणाली में रुचि ले रहे हैं।
दल ने इंद्रावती भवन स्थित जनसंपर्क संचालनालय और छत्तीसगढ़ संवाद कार्यालय का भ्रमण कर विभाग की कार्यप्रणाली और प्रमुख गतिविधियों का प्रत्यक्ष अवलोकन किया। इस दौरान अपर संचालक जे.एल. दरियो, उमेश मिश्रा एवं संजीव तिवारी ने विस्तार से विभागीय कार्यों की जानकारी दी।
अध्ययन दल ने छत्तीसगढ़ सरकार के नवाचारों की सराहना करते हुए कहा कि वे इन मॉडलों को महाराष्ट्र में भी लागू करने की संभावनाओं पर गंभीरता से विचार करेंगे।