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छत्तीसगढ़: शाही स्नान के साथ राजिम कुंभ का समापन

राजिम कुंभ कल्प रामोत्सव के रूप में मनाया गया। कुंभ में देशभर से साधु-संत और महामंडलेश्वर भी शामिल हुए। राज्यपाल हरिचंदन और मौजूद अतिथियों ने भगवान राजीव लोचन की प्रतिमा पर पुष्प अर्पित कर आशीर्वाद लिया।

राजिम के त्रिवेणी संगम भव्यता के साथ सम्पन्न हुआ। समापन समारोह में मुख्य अतिथि के रूप में राज्यपाल विश्वभूषण हरिचंदन शामिल हुए। कार्यक्रम की अध्यक्षता उपमुख्यमंत्री विजय शर्मा ने की। राजिम कुंभ के दौरान संगम नगरी राजिम कुंभ कल्प में अयोध्या धाम का आकर्षक वैभव दिखा। इस वर्ष का राजिम कुंभ कल्प रामोत्सव के रूप में मनाया गया। कुंभ में देशभर से साधु-संत और महामंडलेश्वर भी शामिल हुए। राज्यपाल हरिचंदन और मौजूद अतिथियों ने भगवान राजीव लोचन की प्रतिमा पर पुष्प अर्पित कर आशीर्वाद लिया। इसके साथ ही प्रदेश की सुख-समृद्धि और खुशहाली की कामना की।

समापन समारोह में राज्यपाल हरिचंदन ने कहा कि छत्तीसगढ़ की पवित्र नगरी राजिम के कुंभ मेले में शामिल होकर मुझे आत्मिक प्रसन्नता हो रही है। राजिम मेले में पधारे समस्त संतों, विद्वानों और धर्मगुरूओं को मैं प्रणाम करता हूं। यह हमारे लिए गौरव का विषय है कि देश के प्रतिष्ठित आचार्यों, साधु, संतों, महामंडलेश्वर, महात्माओं का आगमन राजिम में हुआ है। प्रदेश के हृदय स्थल में महानदी, पैरी और सोंढूर नदियों के त्रिवेणी संगम पर स्थित राजिम नगरी, छत्तीसगढ़ के प्रयागराज के रूप में प्रतिष्ठित प्रमुख तीर्थ स्थल है। मुख्यमंच में राज्यपाल को ‘राजिम कुंभ कल्प लोक आस्था का विराट संगम’ पुस्तिका भेंट की गई।

इस अवसर पर उपमुख्यमंत्री विजय शर्मा ने कहा कि पांच साल बाद फिर से भारतवर्ष के वासी इस भव्य आयोजन के साक्षी बने हैं। सभी प्रतीक्षा में थे कि राजिम कुंभ का एक बार फिर से आयोजन होना चाहिए। उन्होंने इस भव्य कुंभ के आयोजन के लिए मंत्री बृजमोहन अग्रवाल का आभार जताया। उन्होंने कहा कि आज माता शक्ति स्वरूपा का दिन अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस और भगवान शिव का दिवस महाशिवरात्रि है। यह ब्रम्हांड के सृजन का दिन है। उन्होंने सभी को राजिम कुंभ कल्प की बधाई देते हुए कहा कि राजिम कुंभ में पहुंच के कृतार्थ हुए।

समापन समारोह में मंत्री बृजमोहन अग्रवाल ने कहा कि पांच साल बाद फिर से राजिम कुंभ का भव्य आयोजन हुआ। यह सब साधु संतो के आशीर्वाद से ही संपन्न हुआ। छत्तीसगढ़ माता कौशल्या की जन्मभूमि है, प्रभु श्रीराम का वन गमन मार्ग है यह पूरे देश और विश्व को पता लगे इसी उद्देश्य से राजिम कुंभ कल्प का आयोजन किया जा रहा है। मंत्री अग्रवाल ने कहा कि राजिम कुंभ में इस साल 20 लाख से अधिक श्रद्धालुगण शामिल हुए।