नई दिल्ली 05 जुलाई।वित्तमंत्री निर्मला सीतारामन ने आज लोकसभा में वर्ष 2019-20 के लिए नरेन्द्र मोदी सरकार के दूसरे कार्यकाल का 24 लाख 57 हजार 235 करोड़ रूपये का पहला केन्द्रीय बजट पेश किया।
बुनियादी ढांचे का विकास, भारत को पचास खरब डालर वाली अर्थव्यवस्था बनाने की परिकल्पना, किसान कल्याण और जल सुरक्षा पर इस बजट में जोर दिया गया है।
श्रीमती सीतारमन ने बजट प्रस्तुत करते हुए कहा कि एनडीए सरकार ने न्यूइंडिया की शुरूआत कर दी है और दुनिया को दिखा दिया है कि रिफार्म, परफार्म और ट्रासफार्म का सिद्धांत सफल हो सकता है।भारत की अर्थव्यवस्था को 50 खरब डॉलर की अर्थव्यवस्था में बदलने की परिकल्पना प्रस्तुत करते हुए बजट में ग्रामीण जीवन में बदलाव लाने, प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष कर प्रणाली को आसान बनाने, विभिन्न प्रकार के संपर्क के जरिए बुनियादी ढांचे को मजबूत करने, भारत की आंतरिक क्षमताओं के उपयोग और सॉफ्ट पावर के रूप में भारत के विकास का लक्ष्य रखा गया है।
उन्होंने कहा कि 2014 में जब एनडीए सरकार सत्ता में आई तो भारतीय अर्थव्यवस्था साढे 18 खरब डॉलर की थी और पांच साल के भीतर यह 27 खरब डॉलर की हो गई है।बजट में अगले दशक के लिए सरकार के दस साल के विजन को भी प्रस्तुत किया गया है। इसके अंतर्गत मौलिक और सामाजिक अवसंरचना के विकास, डिजिटिल इंडिया, प्रदूषण मुक्त भारत, मेक इन इंडिया, जल प्रबंधन और नदियों की सफाई, अंतरिक्ष कार्यक्रम, खाद्यान आत्मनिर्भरता और निर्यात बढ़ाने, स्वस्थ समाज और जन भागीदारी के साथ टीम इंडिया भावना को विकसित करने की बात कही गई है।
उन्होंने कहा कि सरकार के हर प्रयास का केन्द्र बिन्दु गांव, गरीब और किसान हैं।उन्होने ग्रामीण परिवारों का जीवन बदलने वाली उज्जवला और सौभाग्य योजनाओं का जिक्र करते हुए आश्वासन दिया कि 2022 यानी भारत की स्वतंत्रता के 75 वर्ष पूरे होने पर प्रत्येक ग्रामीण परिवार को बिजली और रसोई गैस उपलब्ध हो जायेगी।
वित्तमंत्री ने कहा कि गांधीजी की डेढ सौवीं सालगिरह पूरे के अवसर पर 2 अक्तूबर को राजघाट में राष्ट्रीय स्वच्छता केन्द्र का उद्घाटन किया जायेगा। वित्तमंत्री ने आशा व्यक्त की कि भारत इस साल गांधी जयंती तक खुले में शौच की कुप्रथा से पूरी तरह मुक्त हो जायेगा।