नई दिल्ली 23 अगस्त।केन्द्रीय मंत्रिमंडल ने अन्य पिछड़े वर्गों को उपश्रेणियों में बांटे जाने की समीक्षा के लिए एक आयोग गठित करने को मंजूरी दे दी है।इसके साथ ही मंत्रिमंडल ने अन्य पिछड़े वर्गों में साधन सम्पन्न क्रीमीलेयर की आय सीमा भी छह लाख से बढ़ाकर आठ लाख रुपये कर दी है।
वित्तमंत्री अरुण जेटली ने आज यहां मंत्रिमंडल के निर्णयों की जानकारी देते हुए पत्रकारों को बताया कि यह निर्णय राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग आयोग की सिफारिश के आधार किया गया है।श्री जेटली ने यह भी कहा कि संसद की स्थायी समिति ने भी इस बारे में सिफारिश की थी। केन्द्र सरकार की नौकरियों में इन उपश्रेणियों के अनुसार ही भर्ती की जाएगी।
मंत्री परिषद ने मिनिस्ट्री ऑफ सोशल जस्टिस और इम्पावरमेंट की उस प्रस्तावना को स्वीकार किया, जिसके तहत आर्टिकल 340 के तहत राष्ट्रपति को सिफारिश की जाएगी कि एक आयोग का गठन करे,जो कि अदर बैक्वर्ड क्लासिस की जो लिस्ट है, सेन्ट्रल लिस्ट, केन्द्रीय सर्विसेज की उसमें सब कैटेगराइजेशन करेगी।
आयोग के विचारणीय विषयों में केन्द्र की अन्य पिछड़ा वर्गों की सूची में शामिल सभी जातियों और समुदायों को बराबरी के आधार पर आरक्षण का फायदा न मिलने का मुद्दा भी शामिल है।
यह प्रस्तावित आयोग केन्द्रीय सूची में शामिल अन्य पिछड़े वर्गों के संदर्भ में अन्य पिछड़े वर्गों की विस्तृत श्रेणी में शामिल जातियों, समुदायों के बीच आरक्षण के लाभ के असमान वितरण की जांच करेगा और ऐसे पिछड़े वर्गों के भीतर उपश्रेणीकरण हेतु मानदंडों का वैज्ञानिक तरीके से आकलन करेगा।
इसके अलावा आयोग अन्य पिछड़े वर्गों की केन्द्रीय सूची में संबंधित जातियों, समुदायों, उपजातियों, पर्यायों की पहचान करेगा और उनको, उनकी संबंधित उपश्रेणी में रखेगा। आयोग को अध्यक्ष की नियुक्ति के 12 हफ्ते के अंदर अपनी रिपोर्ट पेश करनी होगी।