रायपुर, 16 अप्रैल।छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने जन सुविधा के मद्देनजर कलेक्टरों को अत्यावश्यक सेवाओं सहित फल, सब्जी, दूध, रसोई गैस की डोर-टू-डोर डिलिवरी की अनुमति एवं इसके लिए आवश्यक व्यवस्था सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं।
श्री बघेल ने जिलों में स्थापित डेडिकेटेड हॉस्पिटल, कोविड केयर सेंटर में मानव संसाधन की आपूर्ति के लिए सेवानिवृत्त चिकित्सकों सहित प्राईवेट चिकित्सकों, नर्स तथा पैरामेडिकल स्टाफ की आवश्यकता संविदा भर्ती के निर्देश दिए हैं।यह संविदा भर्ती तीन माह अथवा अधिकतम कोविड संक्रमण अवधि तक के लिए होगी।नियुक्त चिकित्सकों एवं पैरामेडिकल स्टाफ को संविदा दर के अनुसार मानदेय का भुगतान डीएमएफ फंड से किया जाएगा।
उन्होंने गांवों में सब्जी एवं फल की खेती करने वाले किसानों को यदि वह शहर आकर कालोनियों एवं मोहल्लों में डोर-टू-डोर सब्जी-फल बेचना चाहते हैं तो उन्हें भी इसकी अनुमति दिए जाने के निर्देश दिए हैं।उन्होने सार्वजनिक वितरण प्रणाली के तहत राज्य के राशन दुकानों को खोलने तथा उपभोक्ताओं को टोकन आधार पर खाद्यान्न का वितरण सुनिश्चित करने को कहा है।राशन दुकान संचालकों द्वारा उपभोक्ताओं को इसके लिए पूर्व में टोकन दिया जाना होगा।प्रतिदिन अधिकतम 50 से 80 उपभोक्ताओं को टोकन के आधार पर राशन उपलब्ध कराने को कहा गया है।
श्री बघेल ने कलेक्टरों को दिए गए अपने निर्देश में इस बात का स्पष्ट रूप से उल्लेख किया है कि लॉकडाउन की अवधि में कोई भी सब्जी एवं फल की दुकान नहीं खुलेगी। सब्जी-फल उत्पादक किसानों से सीधे सब्जी-भाजी, फल क्रय कर स्ट्रीट वेन्डर उन्हें कालोनियों, गली-मोहल्लों में घर-घर जाकर बेच सकेंगे। लॉकडाउन के अवधि में बैंक खोलने की अनुमति सिर्फ इस शर्त पर दी गई है कि बैंक के अधिकारी-कर्मचारी बैंकिंग सेवा से संबंधित कार्यों का निष्पादन कर सकेंगे।