नई दिल्ली 20 मई।प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कोविड महामारी की चुनौतियों से निपटने के लिए निरंतर नवोन्मेष, नए-नए तरीके और प्रभावशाली रणनीति बनाने पर जोर दिया है।
श्री मोदी ने आज कोविड की स्थिति के बारे में 10 राज्यों के जिलाधिकारियों से वर्चुअल संवाद में कहा कि वायरस लगातार अपना स्वरूप बदल रहा है और वैज्ञानिक वायरस के बदलते रूपों से निपटने के लिए काम कर रहे हैं। उन्होने कहा कि कोरोना वायरस की दूसरी लहर के बीच वायरस का बदलता रूप वयस्कों और बच्चों के लिए चुनौती बना हुआ है। उन्होंने राज्यों के प्रशासन और जिलाधिकारियों से इस संक्रामक रोग की गंभीरता से संबंधित आंकड़े जुटाने को कहा है।
उन्होने कहा कि इससे आगे आने वाली चुनौतियों का सामना करने के लिए बेहतर नीतियां बनाने में मदद मिलेगी। कोविड टीकों की बर्बादी को रोकने की जरूरत पर जोर देते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि एक टीके की बर्बादी का मतलब एक जीवन को सुरक्षा कवच उपलब्ध कराने में असमर्थ होना है।प्रधानमंत्री ने कहा कि केन्द्र सरकार टीकों की आपूर्ति बनाए रखने के लिए निरंतर प्रयास कर रही है।
प्रधानमंत्री ने कहा कि कोरोना के मरीजों की संख्या में कमी आने के बावजूद कोविड महामारी से उत्पन्न चुनौतियां अभी भी बनी हुई है। महामारी से बचने के नियमों का पालन करना ही इस बीमारी से बचने का सशक्त उपाय है।कोविड महामारी से लड़ने में जिलाधिकारियों की अहम भूमिका की सराहना करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि अपने क्षेत्र में किए गए कार्यों और अनुभवों को साझा करने से इस महामारी से निपटने के लिए प्रभावी नीतियां बनाने में मदद मिलेगी।