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खनन क्षेत्रों में DMF के प्रभावी कार्यान्वयन के लिए छत्तीसगढ़ को मिला राष्ट्रीय सम्मान

रायपुर, 09 जुलाई।छत्तीसगढ़ सरकार को खनन प्रभावित क्षेत्रों में पारदर्शिता और समावेशी विकास को बढ़ावा देने के लिए राष्ट्रीय स्तर पर सम्मानित किया गया है।

  नई दिल्ली के स्कोप कन्वेंशन सेंटर में आयोजित एक दिवसीय “नेशनल DMF वर्कशॉप” के दौरान केंद्रीय कोयला एवं खान मंत्री श्री जी. किशन रेड्डी ने मुख्यमंत्री के सचिव और खनिज सचिव पी. दयानंद को प्रशस्ति पत्र प्रदान कर यह सम्मान दिया।

    यह पुरस्कार जिला खनिज संस्थान न्यास (DMF) के तहत उल्लेखनीय कार्यों और डेटा पारदर्शिता के लिए छत्तीसगढ़ को प्रदान किया गया। राज्य द्वारा नेशनल DMF पोर्टल पर 90% से अधिक डेटा और ऑडिट रिपोर्ट समय पर अपलोड किए गए हैं, जिससे राज्य को मॉडल राज्य  के रूप में प्रस्तुत किया गया।

   कार्यशाला का आयोजन प्रधानमंत्री खनिज क्षेत्र कल्याण योजना के तहत खनन क्षेत्रों में सतत एवं समावेशी विकास की दिशा में हो रहे प्रयासों को साझा करने और उनकी प्रभावशीलता बढ़ाने के उद्देश्य से किया गया। इसमें देशभर के राज्यों के वरिष्ठ अधिकारी, सचिव, संचालक और खनन प्रभावित जिलों के कलेक्टर शामिल हुए।

छत्तीसगढ़ के DMF मॉडल की विशेषताएं:

  • अब तक ₹16,506 करोड़ की लागत से 1,01,313 विकास कार्यों की स्वीकृति।
  • इनमें से 70,318 कार्य पूर्ण किए जा चुके हैं।
  • प्राथमिकता: शिक्षा, स्वास्थ्य, पेयजल, अधोसंरचना, आजीविका और सामाजिक सशक्तिकरण।
  • योजना निर्माण में स्थानीय आवश्यकताओं को प्राथमिकता।
  • पारदर्शी और जनहितकारी कार्यान्वयन नीति।

राज्य सरकार की DMF नीतियों को न केवल भौतिक विकास बल्कि सामाजिक न्याय और सशक्तिकरण को ध्यान में रखते हुए लागू किया जा रहा है। यही वजह है कि कार्यशाला में अन्य राज्यों को भी छत्तीसगढ़ के मॉडल को अपनाने की सलाह दी गई।

इस अवसर पर खनिज साधन विभाग के सचिव पी. दयानंद, संचालक रजत बंसल, तथा बालोद, बलौदाबाजार-भाटापारा, कोरबा, रायगढ़ और दंतेवाड़ा के कलेक्टर्स एवं DMF के नोडल अधिकारी उपस्थित रहे।