नई दिल्ली 05 सितम्बर।रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने कहा हैं कि चीन के सैनिकों की बड़ी संख्या में तैनाती, उनका आक्रामक व्यवहार और यथास्थिति बदलने की एकतरफा कोशिश सहित चीन की सेना की कार्रवाई द्विपक्षीय समझौते का उल्लंघन है।
श्री सिंह ने चीन के रक्षामंत्री जनरल वेई फेंग ने भारत चीन सीमा की घटनाओं और दोनों देशों के संबंधों पर मास्को ने विस्तार से बातचीत की।दोनों मंत्रियों ने शंघाई सहयोग संगठन की बैठक से अलग से मुलाकात की।
श्री सिंह ने पिछले कुछ महीनों में भारत चीन सीमा क्षेत्र के पश्चिमी सेक्टर में गलवान घाटी सहित वास्तविक नियंत्रण रेखा पर घटनाक्रम को लेकर भारत की स्थिति से चीन के रक्षामंत्री को अवगत कराया।रक्षामंत्री ने कहा कि दोनों पक्षों को नेताओं की सम्मति से निर्देश लेना चाहिए कि दविपक्षीय संबंधों को आगे ले जाने के लिए भारत चीन सीमा क्षेत्र में शांति बनाए रखना आवश्यक है और दोनों पक्षों को अपने मतभेद विवाद के रूप में नहीं बनने देना चाहिए।
श्री सिंह ने सलाह दी कि चीन को दविपक्षीय समझौतों और प्रोटोकोल के अनुसार पेंगोंग झील और सीमा क्षेत्र में तनाव कम करने सहित सभी संघर्ष वाले क्षेत्रों को पूरी तरह तनावमुक्त करने के लिए भारत के साथ मिलकर काम करना चाहिए।उन्होंने कहा कि वर्तमान स्थिति से जिम्मेदार तरीके से निपटना चाहिए और किसी भी पक्ष को ऐसी कोई कार्रवाई नहीं करनी चाहिए जिससे स्थिति खराब हो या सीमा क्षेत्रों में तनाव बढ़े।
श्री सिंह ने चीन को इस बात से भी अवगत कराया कि दोनों पक्षों को राजनयिक और सेना चैनलों सहित बातचीत जारी रखनी चाहिए ताकि वास्तविक नियंत्रण रेखा पर पूरी तरह तनाव दूर हो सके और पूरी तरह शांति बहाल हो सके।