रायपुर 21 दिसम्बर।छत्तीसगढ़ विधानसभा में आज छत्तीसगढ़ तथा अविभाजित मध्यप्रदेश विधानसभा के दिवंगत पूर्व सदस्यों को श्रद्धांजलि दी गई।
शीतकालीन सत्र के पहले दिन आज विधानसभा की कार्यवाही शुरू होने पर विधानसभा के उपाध्यक्ष मनोज सिंह मंडावी ने छत्तीसगढ़ विधानसभा के पूर्व सदस्य हीरासिंह मरकाम, अविभाजित मध्यप्रदेश विधानसभा के पूर्व सदस्य पूरन लाल जांगडे,छत्तीसगढ़ विधानसभा के पूर्व सदस्य लाल महेन्द्र सिंह टेकाम और घनाराम साहू के निधन का उल्लेख किया। सदन में दो मिनट का मौन रखकर दिवंगतों को श्रद्धांजलि दी गई।
मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने छत्तीसगढ़ विधानसभा के पूर्व सदस्य स्वं हीरासिंह मरकाम को श्रद्धांजलि देते हुए कहा कि श्री मरकाम छत्तीसगढ़ के प्रमुख आदिवासी नेता थे। उन्होंने गोंडवाना गणतंत्र पार्टी की स्थापना की और पूरा जीवन आदिवासियों से जुड़े मुद्दों के लिए संघर्ष किया।श्री मरकाम स्पष्टवादी और सिद्धांतों से समझौता नहीं करने वाले नेता थे। श्री बघेल ने अविभाजित मध्यप्रदेश के पूर्व सदस्य पूरन लाल जांगड़े को श्रद्धांजलि देते हुए कहा कि स्वर्गीय श्री जांगड़े मालखरौदा क्षेत्र से विधायक रहे। उन्होंने समाज के शोषित, पीडि़त और सर्वहारा वर्ग के लोगों के अधिकारों के लिए संघर्ष किया।
उन्होने स्व.लाल महेन्द्र सिंह टेकाम को श्रद्धांजलि देते हुए कहा कि वे सरल, सहज और मिलनसार व्यक्ति थे। वे क्षेत्र के विकास के लिए सदैव प्रयासरत रहे। श्री बघेल ने स्वर्गीय घनाराम साहू को श्रद्धांजलि देते हुए कहा कि वे गुण्डरदेही क्षेत्र से पहली बार निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में चुने गए।वे तीन बार विधायक रहे। सहज, सरल स्वाभाव के स्वर्गीय श्री साहू ने संगठन में भी विभिन्न पदों पर कार्य किया। सभी दलों के लोगों से उनके निकट संबंध रहे। उन्होंने आजीवन समाज और क्षेत्र के विकास के लिए कार्य किया।
नेता प्रतिपक्ष धरमलाल कौशिक, पूर्व मुख्यमंत्री डा.रमन सिंह,खाद्य मंत्री अमरजीत भगत, विधानसभा के सदस्य धरमजीत सिंह,मोहन मरकाम,केशव चंद्रा,धनेन्द्र साहू ने भी दिवंगतों को सदन में श्रद्धांजलि दी।