लखनऊ से सांसद और बीती सरकार में रक्षा मंत्री रहे राजनाथ सिंह ने लगातार तीसरी बार कैबिनेट मंत्री की शपथ ली। राजनाथ सिंह 2014 और 2019 में मोदी सरकार में कैबिनेट मंत्री रह चुके हैं। राजनाथ सिंह अटल बिहारी बाजपेयी की सरकार में भी मंत्री रह चुके हैं। इसके पहले वह दो बार भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष और यूपी के मुख्यमंत्री भी रह चुके हैं। वह यूपी की कल्याण सिंह सरकार में भी कैबिनेट मंत्री रह चुके हैं। रविवार को हुए मोदी सरकार के तीसरे शपथ ग्रहण समारोह में राजनाथ सिंह ने पीएम मोदी के बाद कैबिनेट मंत्री के रूप में शपथ ली। राजनाथ सिंह लगातार तीन बार से लखनऊ सीट से निर्वाचित हो रहे हैं। 2014 से 2019 के दौरान राजनाथ सिंह देश के रक्षामंत्री रहें। इसके पहले वह गृहमंत्री, और कृषि मंत्री भी रह चुके हैं।
ढोल नगाड़ों संग आतिशबाजी कर मिठाइयां खिला मनाया जश्न
आलमबाग के गीतापल्ली में स्थानीय बीजेपी पार्षद ऋचा आदर्श मिश्रा के कार्यालय पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के तीसरी बार शपथ ग्रहण करने पर जश्न का माहौल रहा। राजनाथ सिंह के कैबिनेट मंत्री बनने पर भी जश्न हुआ। बीजेपी कार्यकर्ताओं ने ढोल नगाड़ों संग पूरे वार्ड में आतिशबाजी करते रहे और मिठाइयां बांट अपनी ख़ुशी का इजहार किया इस दौरान जय श्री राम और एक बार फिर मोदी सरकार की गूंज से पूरा इलाका गुंजायमान हो गया | इस अवसर पर अंकित पांडेय , अनूप तिवारी , दीपक, ममता, आरती, शीतल, पूनम, मंजू समेत भारी भीड़ का हुजूम एक दूसरे को बधाई देते रहे।
पीएम सहित ये मंत्री यूपी से
नरेंद्र मोदी- वाराणसी से तीसरी बार सांसद चुने गए। तीसरी बार प्रधानमंत्री पद की शपथ ली है। 73 साल के मोदी गुजरात राज्य के वडनगर के निवासी हैं और गुजरात के दो बार मुख्यमंत्री रह चुके हैं।
राजनाथ सिंह- लखनऊ से सांसद चुने गए हैं। वह गृहमंत्री और फिर रक्षामंत्री रह चुके हैं। मूल रूप से चंदौली के निवासी हैं और ठाकुर बिरादरी के हैं। वह अटल सरकार में केंद्रीय भूतल परिवहन मंत्री, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री और भाजपा के प्रदेश और राष्ट्रीय अध्यक्ष रह चुके हैं।
हरदीप पुरी- सिख समुदाय से आने वाले पुरी दिल्ली के निवासी है और उत्तर प्रदेश से राज्यसभा सदस्य हैं। वह केंद्र सरकार में मंत्री रहे हैं। भारतीय विदेश सेवा के अधिकारी रहे हैं।
जयंत चौधरी- पश्चिमी उत्तर प्रदेश का जाट चेहरा और पूर्व प्रधानमंत्री चौधरी चरण सिंह के पौत्र व चौधरी अजित सिंह के बेटे हैं। राष्ट्रीय लोकदल के राष्ट्रीय अध्यक्ष हैं। विधानसभा चुनाव सपा के साथ मिलकर लड़े और सपा के समर्थन से राज्यसभा पहुंचे। अब रालोद एनडीए गठबंधन के साथ है। उनकी पार्टी के दो सांसद जीते हैं।
पंकज चौधरी- गोरखपुर के मूल निवासी और कुर्मी बिरादरी से हैं। महराजगंज से लगातार सातवीं बार सांसद चुने गए हैं। वित्त राज्यमंत्री रहे हैं।
अनुप्रिया पटेल- अपना दल (सोनेलाल ) की अध्यक्ष हैं। पार्टी एनडीए में शामिल है। कुर्मी बिरादरी से हैं। मिर्जापुर से दोबारा सांसद चुनी गई हैं। केंद्र में राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) रही हैं।
एसपी बघेल- कभी मुलायम सिंह यादव की सुरक्षा में तैनात रहे एसपी सिंह 1998 में पहली बार विधायक बने। इटावा के मूल निवासी बघेल इस बार आगरा से सांसद चुने गए। वह विधि एवं न्याय राज्यमंत्री रह चुके हैं।
कीर्ति वर्धन सिंह – सपा से सियासत शुरू करने वाले कीर्तिवर्धन सिंह गोंडा से पांचवी बार सांसद चुने गए हैं। मनकापुर राजपरिवार से ताल्लुख रखते हैं और ठाकुर बिरादरी से हैं।
बीएल वर्मा- बदायूं के मूल निवासी हैं और पिछड़े वर्ग के हैं। भाजपा संगठन में विभिन्न पदों पर रहते हुए पिछड़ा वर्ग मोर्चा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष बने। राज्यसभा सदस्य हैं। राज्यमंत्री रहे हैं।
कमलेश पासवान- गोरखपुर के मूल निवासी और बांसगांव से लगातार चौथी बार सांसद चुने गए हैं। पूर्वांचल में दलित चेहरा।
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