Wednesday , December 31 2025

आलेख

एक विचार का यों बदल जाना-दिवाकर मुक्तिबोध

यह प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का करिश्माई व्यक्तित्व, उनका भाषाई कौशल, लोकदृष्टि और सबका साथ सबका विकास जैसे लोकलुभावन नारे का कमाल है या समानांतर चलते उस खौफ का जो विचारों को रौंदता है, उन्हें बदलने को मजबूर कर देता है। इसे तय कर पाना बड़ा मुश्किल है। वस्तुस्थिति तो वही …

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बौद्धिक तेज से दमकता था अनिल दवे का व्यक्तित्व – संजय द्विवेदी

 केंद्रीय पर्यावरण मंत्री श्री अनिल माधव दवे,देश के उन चुनिंदा राजनेताओं में थे, जिनमें एक बौद्धिक गुरूत्वाकर्षण मौजूद था। उन्हें देखने, सुनने और सुनते रहने का मन होता था। पानी, पर्यावरण,नदी और राष्ट्र के भविष्य से जुड़े सवालों पर उनमेंगहरी अंर्तदृष्टि मौजूद थी। उनके साथ नदी महोत्सवों ,विश्व हिंदी सम्मेलन-भोपाल, अंतरराष्ट्रीय विचार महाकुंभ-उज्जैन सहित कई आयोजनों में काम …

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जंक फूड पर विशेषज्ञ समिति की चिंता जायज -डा.संजय शुक्ला

हाल ही में केन्द्रीय महिला एवं बाल विकास मंत्रालय द्वारा बच्चों के बढ़ते मोटापे की समस्या पर गठित एक विशेषज्ञ समिति ने यह सुझाव दिया है कि स्कूलों में तथा इसके आस-पास 200 मीटर के दायरे में जंक फूड की बिक्री व उपलब्धता पर प्रतिबंध लगाये जाये तथा इन खाद्य …

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राहुल गांधी की छुट्टियों पर हंगामा क्यों है बरपता -फ़िरदौस ख़ान

कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी जब भी देश से बाहर जाते हैं, तो एक हंगामा बरपा हो जाता है। भारतीय जनता पार्टी के नेता उनकी छुट्टियों पर तंज़ कसने लगते हैं, उनकी छुट्टियों के बारे में सौ सवाल पूछे जाते हैं। देश का प्रधानमंत्री देश से कितने ही दिन बाहर क्यों …

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