छत्तीसगढ़ समेत देश के कई राज्यों में इस साल विधानसभा चुनाव होने वाले हैं। अटकलें हैं कि भाजपा इन चुनावों में भी गुजरात के फॉमूले को आजमा सकती है। सनद रहे भाजपा ने गुजरात के विधानसभा चुनाव में कई मौजूदा विधायकों और दिग्गज नेताओं का टिकट काट दिया था। गुजरात में भाजपा ने ऐतिहासिक बहुमत हासिल किया था। भाजपा की इस सफलता में ‘नॉन परफॉर्मिंग नेताओं’ के टिकट काटे जाने के फॉर्मूले की भी चर्चा होती रहती है। चूंकि छत्तीसगढ़ में अभी से चुनावी माहौल गरमाने लगा है, इसलिए यहां भी भाजपा के गुजरात फॉर्मूले के आजमाए जाने को लेकर अटकलें लगाई जा रही हैं। छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने इस पर जमकर चुटकी ली है।
बघेल बोले- मुझे सता रही रमन की चिंता
चुनावी साल में भाजपा और कांग्रेस के नेता एक दूसरे पर हमले का कोई मौका नहीं चूक रहे हैं। भाजपा की ओर से छत्तीसगढ़ में भी गुजरात फॉर्मूले के अपनाए जाने की अटकलों पर सूबे के सीएम भूपेश बघेल ने भी मंगलवार को तंज कसा। उन्होंने कहा कि सूबे के भाजपा नेताओं को गुजरात के फॉमूले को राज्य में भी आजमाए जाने की संभावना के चलते टिकट कट जाने का भय सताने लगा है। भूपेश बघेल ने पूर्व मुख्यमंत्री पर तंज कसते हुए कहा कि मुझे तो चिंता है कि रमन सिंह और पूर्व मंत्री बृजमोहन अग्रवाल का भी टिकट न कट जाए।
केंद्र सरकार नहीं दे रही राज्य की राशि
इसके साथ ही छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने राज्य के भाजपा नेताओं के केन्द्र से भरपूर राशि मिलने के दावे को दुष्प्रचार करार दिया। उन्होंने कहा कि असलियत यह है कि छत्तीसगढ़ को नियमों के मुताबिक मिलने वाली राशि भी केंद्र से नहीं मिल रही हैं। बघेल ने प्रदेश भाजपा अध्यक्ष अरुण साव के बयान पर निशाना साधते हुए पत्रकारों से बातचीत में कहा कि तमाम प्रयासों के बाद भी केंद्र कोयले की रायल्टी के 4177 करोड़ रुपये राज्य को नहीं दे रहा है। जीएसटी की राशि में राज्य का हिस्सा नहीं मिल रहा है। साव बिलासपुर से सांसद हैं जबकि बिलासपुर रेलवे जोन मुख्यालय से कोरेना काल के समय रद्द हुई कई ट्रेनें अभी तक रद हैं।
चार साल तक सोए थे भाजपा नेता
भूपेश बघेल ने अरुण साव पर निशाना साधते हुए कहा कि कोयले की ढुलाई के नाम पर भी तमाम ट्रेनें रद की गईं लेकिन साव ने इसको लेकर कभी आवाज नहीं उठाई। अगर साव राज्य के हितैषी हैं तो उनको केंद्र सरकार से बकाया राशि तुरंत दिलवाना चाहिए। केंद्रीय करों में भी राज्य की हिस्सेदारी है। संविधान के मुताबिक, राज्यों को उसमें हिस्सेदारी देनी है। यह कोई एहसान नहीं है। उन्होंने कहा कि चार साल तक भाजपा नेता सोए थे। अब जब चुनावी साल आया और नए प्रभारी माथुर जी आए तो उनको खुश करने के लिए कुछ भी आरोप मढ़ने की होड़ मची है।
केवल बयानबाजी करते हैं भाजपा के लोग
समाचार एजेंसी वार्ता की रिपोर्ट के मुताबिक, बघेल ने आगे कहा कि भाजपा के लोग केवल बयानबाजी करते हैं। भाजपा नेताओं ने किसानों की आमदनी दोगुनी करने के बड़े बड़े वादे किए थे लेकिन वादे हवा हवाई साबित हुए हैं। वास्तविकता यह है कि छत्तीसगढ़ की कांग्रेस सरकार ने किसानों की आमदनी को दोगुना करके दिखाया है। फसलों के लाभकारी मूल्य और अन्य रियायतें मिलने से बीते चार वर्षों में खेती करने वाले किसानों की संख्या में लगभग 10 लाख की बढ़ोत्तरी हुई है। खेती का रकबा भी बढ़ा है। इस साल अभी तक रिकार्ड 100 लाख मिट्रिक टन धान की समर्थन मूल्य पर खरीद होना इसका सबसे बड़ा उदाहरण है।