Sunday , July 6 2025
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आलेख

200 साल पुराने युध्द के बहाने वर्तमान को बांटने की कोशिशें – उमेश त्रिवेदी

पुणे जिले के भीमा-कोरेगांव युध्द की 200वीं सालगिरह पर आयोजित जश्न में पनपी हिंसा ने देश में सामाजिक-समरसता की राहों को नए जातीय तनाव की ओर मोड़ दिया है। एक जनवरी 1818 के दिन भीमा-कोरेगांव की लड़ाई में ईस्ट इंडिया कंपनी की सेना ने चितपावन ब्राम्हण पेशवा बाजीराव व्दितीय की …

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म.प्र. में भाजपा और कांग्रेस के सामने सत्ता में बने रहने और आने की चुनौती – अरुण पटेल

मध्यप्रदेश में नया साल भाजपा और कांग्रेस दोनों के लिए चुनौतियों से भरा रहेगा, क्योंकि यह वही साल है जब मिशन 2018 की सफलता के लिए दोनों दल एड़ी-चोटी का जोर लगाने में कोई कोर-कसर बाकी नहीं रखेंगे। भाजपा के सामने लगातार चौथी बार सत्ता में बने रहने का लक्ष्य …

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वर्ष 2018: क्यों बीता समय आने वाले वक्त को डरा रहा है ? – उमेश त्रिवेदी

साल भर राजनीति के खारे पानी में गोताखोरी के बाद 2017की लंबी परछाइयां समय की लहरों पर गहरे लंगर डालकर कुछ इस कदर जमी बैठी हैं कि 2018 की रोशन सुबह की खुशियों के आगे अंधेरों का पर्दा दहशतजदा करता सा महसूस होता हैं। साल के आखिरी दिनों में नए …

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टेलीकॉम इंडस्ट्री के लिए नोट छापने वाली प्रेस जरूरी – उमेश त्रिवेदी

धीरूभाई अंबानी के दूसरे पुत्र अनिल अंबानी के इस मशविरे को उनकी कुंठा कहेंगे या तजुर्बा कि भारत में टेलीकॉम-इंडस्ट्री में जिंदा रहने के लिए आपके और रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया की नोट छापने वाली प्रिंटिग प्रेस के बीच नोट-सप्लाई करने वाली पाइप-लाइन होना चाहिए। अनिल अंबानी का यह ऑब्जर्वेशन …

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राहुल गांधी की ‘राजनीतिक-रेसिपी में स्वामी के आंकड़ों का ‘तड़का’ – उमेश त्रिवेदी

भाजपा के राज्यसभा सदस्य सुब्रमण्यम स्वामी भले ही खुद कभी न चौंकें, लेकिन दूसरे राजनेताओं को चौंकाने में वो माहिर हैं। अहमदाबाद में चार्टर्ड अकाउंटेंटों के आयोजन में स्वामी ने वित्तमंत्री अरुण जेटली सहित समूची मोदी-सरकार को यह कहते हुए चौंका दिया कि केन्द्र-सरकार द्वारा जारी जीडीपी ग्रोथ के आंकड़े …

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विपक्ष को सन्मति देने की राम –धुन गाने का समय- पंकज शर्मा

ऊपर-ऊपर से कुछ भी कहें, मगर भीतर-भीतर तो नरेंद्र भाई मोदी भी यह समझ गए हैं कि गुजरात तो उनके चंगुल से चला गया है। तकनीकी-रेखा से चूंकि सात सीटें भारतीय जनता पार्टी को ज़्यादा मिल गई हैं तो सरकार तो बन गई, लेकिन नाचता मोर अपने पंजों को देख …

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2-जी स्पैक्ट्रम: काले धन के पाताल-लोक में दैत्यों का नया अवतार – उमेश त्रिवेदी

सीबीआई की विशेष अदालत में 1 लाख 76 हजार करोड़ के 2-जी स्पैक्ट्रम घोटाले में सभी आरोपियों के छूट जाने के बाद यह खबर आम जनता के मन में कोई गुदगुदी या उम्मीदें पैदा नहीं कर पा रही है कि समाजसेवी अण्णा हजारे 23 मार्च 2018 में एक मर्तबा फिर …

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जीत के जुनून, जज्बा और जिद के अभाव से जूझती कांग्रेस – अरुण पटेल

कांग्रेस अध्यक्ष की कमान संभालने के बाद राहुल गांधी ने कार्यसमिति की पहली बैठक में सूत्र वाक्य दिया कि कांग्रेस के पास सब कुछ है केवल विनिंग एट्टीट्यूट नहीं है और बस उसे इसकी ही जरूरत है। इससे लगता है राहुल ने कांग्रेसजनों की कमजोरी पकड़ने में कोई गफलत नहीं …

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छत्तीसगढ़ में क्या चौथी बार भी रमन ?-दिवाकर मुक्तिबोध

गुजरात लगातार 6वीं बार फतह के बाद भाजपा का राष्ट्रीय नेतृत्व भले ही संतोष का अनुभव करें लेकिन यह बात स्पष्ट है कि अगले वर्ष छत्तीसगढ़ सहित चार राज्यों में होने वाले विधानसभा चुनाव में पार्टी की राज्य इकाइयों पर दबाव कुछ और बढ़ गया है। यदि पार्टी गुजरात चुनाव …

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2-जी स्पैक्ट्रम: देश की गुमराह राजनीति और माफीनामे की बातें – उमेश त्रिवेदी

सीबीआई की स्पेशल कोर्ट में 2-जी घोटाले के सभी आरोपियों के दोषमुक्त हो जाने के बाद देश को एक महती सवाल का उत्तर ढूंढना होगा कि भारत में पक्ष-विपक्ष के राजनीतिक आरोपों की जवाबदेही और राजनीतिक-विमर्श का अनुशासन क्या होना चाहिए ?  पिछले चार दिनों से संसद में कामकाज इसलिए …

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